हैदराबाद: पांच राज्यों में होने जा रहे विधानसभा चुनाव को लेकर अब सियासत तेज हो गई है और बयानबाजी का दौर भी शुरू हो चुका है। हैदराबाद पहुंचे केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी ने खुले मंच से शनिवार को कहा कि जो लोग भारत में रहना चाहते हैं उन्हें ‘भारत माता की जय’ कहना ही पड़ेगा। केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी, हैदराबाद में भाजपा द्वारा आयोजित एक किसान सम्मेलन में बोल रहे थे। उन्होंने जन प्रतिनिधियों की ”इस्तेमाल की गई भाषा” का जिक्र करते हुए कहा कि आने वाले समय में उन्हें ”सबक सिखाया जाना चाहिए” और राज्य में राष्ट्रवादी सोच वाली सरकार बननी चाहिए। मंत्री ने कहा, जो लोग भारत में कहते हैं कि वे ‘भारत माता की जय’ नहीं बोलेंगे, वे नरक में जाएं। उन्होंने जोर देकर कहा, “भारत में रहना है, तो ‘भारत माता की जय’ बोलना ही होगा।”
इसके बाद उन्होंने पूछा, “भारत में रहते हुए क्या आप ‘पाकिस्तान ज़िंदाबाद’ कहेंगे? ‘वंदे मातरम’ और ‘भारत माता की जय’ कहने वालों के लिए ही इस देश में जगह है। इसलिए मैं कहना चाहूंगा कि अगर कोई ऐसा व्यक्ति है जो ‘भारत माता की जय’ नहीं बोलता, हिंदुस्तान और भारत में आस्था नहीं रखता और ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ में आस्था रखता है, तो उसे पाकिस्तान चले जाना चाहिए.” यहां इसकी कोई आवश्यकता नहीं है।”
उन्होंने कहा कि देश के लिए क्षेत्र में राष्ट्रवादी विचारधारा का होना आवश्यक है और सामूहिक प्रयासों से देश को मजबूत किया जाना चाहिए। केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा हाल ही में कृष्णा जल विवाद न्यायाधिकरण के संदर्भ की शर्तों को मंजूरी देने के अवसर पर भाजपा द्वारा किसान सम्मेलन का आयोजन किया गया था, जो आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के बीच जल बंटवारे को नियंत्रित करेगा।
कांग्रेस पर लगाया नाम चुराने का आरोप
विपक्षी गठबंधन द्वारा खुद को भारत नाम दिए जाने का जिक्र करते हुए, कैलाश चौधरी ने आरोप लगाया कि “कांग्रेस के लोगों” ने पहले महात्मा गांधी का नाम चुराया, जिसके बाद उन्होंने “कांग्रेस” का नाम लिया, जो मूल रूप से देश के लिए आजादी हासिल करने के लिए बनाई गई थी और फिर “उन्होंने इंडिया नाम दिया है। ये लोग नाम चुराने का यह काम आज से नहीं कर रहे हैं। अगर उन्होंने नाम चुराने का काम सबसे पहले किया है, तो कांग्रेस के लोगों ने सबसे पहले महात्मा गांधी जी का नाम चुराया। आज, यह राहुल गांधी हैं, सोनिया गांधी हैं। गांधी को चुराकर, वे गांधीजी जैसा बनना चाहते हैं। उसी तरह, वे भारत का नाम भी लेना चाहते हैं।”
कैलाश चौधरी ने कृष्णा ट्रिब्यूनल के संदर्भ की शर्तों को मंजूरी देने की सराहना करते हुए कहा कि किसानों के लिए पानी से ज्यादा महत्वपूर्ण कुछ नहीं है। पीएम नरेंद्र मोदी हमेशा किसानों को अत्यधिक महत्व देते हैं। चौधरी ने केंद्र के किसान समर्थक उपायों पर प्रकाश डाला, जिसमें पिछले यूपीए शासन की तुलना में कृषि बजट में बढ़ोतरी, पीएम किसान सम्मान निधि योजना, नैनो यूरिया उर्वरक और कृषि बुनियादी ढांचे का प्रावधान शामिल है।
(इनपुट-पीटीआई)